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खादी महोत्सव’ के अंतर्गत आई.एन.ए. दिल्ली हाट में विशेष खादी प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने किया

By विनय मिश्रा नई दिल्लीप्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दृष्टिकोण के अनुरूप ‘जीएसटी बचत उत्सव’ के माध्यम से जन-जन तक स्वदेशी उत्पादों को पहुंचाने के उद्देश्य से खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी), सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्यम मंत्रालय (एमएसएमई), भारत सरकार ने आई.एन.ए. दिल्ली हाट में विशेष खादी प्रदर्शनी का बुधवार को शुभारंभ किया। उद्घाटन मुख्य अतिथि दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने केवीआईसी के अध्यक्ष मनोज कुमार की गरिमामयी उपस्थिति में किया। देशभर में मनाए जा रहे ‘खादी महोत्सव’ के अंतर्गत त्योहारों के मौसम में आयोजित इस प्रदर्शनी का उद्देश्य प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘वोकल फॉर लोकल’ और ‘हर घर स्वदेशी, घर-घर स्वदेशी’ अभियान को बढ़ावा देना तथा खादी कारीगरों की आय में वृद्धि करना है।

खादी महोत्सव’ के अंतर्गत आई.एन.ए. दिल्ली हाट में विशेष खादी प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने किया

राज्य कार्यालय, खादी और ग्रामोद्योग आयोग, नई दिल्ली द्वारा आयोजित इस विशेष खादी प्रदर्शनी का आयोजन 15 अक्टूबर तक किया जाएगा। इसमें दिल्ली, राजस्थान, बिहार, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, गुजरात, ओडिशा, मध्य प्रदेश, बंगाल, हरियाणा और जम्मू सहित 18 राज्यों के खादी संस्थान एवं उद्यमी भाग ले रहे हैं। विभिन्न राज्यों से आए 33 खादी संस्थानों और 53 पीएमईजीपी एवं ग्रामोद्योग इकाइयों के कुल 86 स्टॉल लगाए गए हैं, जहां खादी और ग्रामोद्योग उत्पादों की विस्तृत श्रृंखला प्रदर्शित की जा रही है। प्रदर्शनी में साड़ियां, रेडीमेड वस्त्र, हस्तशिल्प वस्तुएं, हर्बल एवं आयुर्वेदिक उत्पाद, चमड़े के सामान, हस्तनिर्मित कागज उत्पाद, अचार, मसाले, साबुन, शैंपू, शहद आदि उत्पाद बिक्री हेतु उपलब्ध हैं। साथ ही कारीगर और शिल्पकार अपनी विविध श्रृंखला का सजीव प्रदर्शन भी कर रहे हैं।

खादी महोत्सव’ के अंतर्गत आई.एन.ए. दिल्ली हाट में विशेष खादी प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने किया

उद्घाटन कार्यक्रम में मीडिया को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने लोगों से खादी एवं स्वदेशी उत्पादों को अधिक से अधिक अपनाने की अपील की। इस अवसर पर उन्होंने दिल्ली वासियों से विशेष आग्रह किया कि वे त्योहारों की खरीदारी के लिए इस प्रदर्शनी में अवश्य पधारें और स्वदेशी खादी उत्पाद खरीदकर प्रधानमंत्री जी के ‘वोकल फॉर लोकल’ एवं ‘आत्मनिर्भर भारत’ अभियान का हिस्सा बनें। उन्होंने कहा कि इस प्रदर्शनी का व्यापक लक्ष्य ग्रामीण कारीगरों और पारंपरिक शिल्पकारों की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ बनाना है, जिससे उन्हें सशक्त बनाया जा सके और भारत की स्वदेशी शिल्पकला की जीवंत विरासत को संरक्षित रखा जा सके। प्रदर्शनी के अवलोकन के दौरान उन्होंने स्वयं चरखे पर सूत काता और हाथ चरखा पर खादी के बुनाई की प्रक्रिया समझी।

खादी महोत्सव’ के अंतर्गत आई.एन.ए. दिल्ली हाट में विशेष खादी प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने किया

मीडिया से संवाद के दौरान केवीआईसी अध्यक्ष मनोज कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री जी के दृष्टिकोण के अनुरूप ‘जीएसटी बचत उत्सव’ के माध्यम से ‘गर्व से कहो यह स्वदेशी है’ का संदेश जन-जन तक पहुंचाना ही प्रदर्शनी का प्रमुख उद्देश्य है। उन्होंने बताया कि ‘खादी महोत्सव’ के अंतर्गत आयोजित इस प्रदर्शनी में ‘मिनी भारत’ की झलक मिलती है। यहां केवीआईसी के मध्य क्षेत्र से 17 इकाइयां, पूर्वी क्षेत्र से 18 इकाइयां, उत्तर क्षेत्र से 38 इकाइयां, दक्षिण क्षेत्र से 8 इकाइयां तथा पूर्वोत्तर क्षेत्र से 1 इकाई अपने उत्पाद प्रदर्शित कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि इस प्रदर्शनी में पारंपरिक शिल्प से जुड़ी भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने के लिए विशेष श्रृंखला प्रदर्शित की गई है, जो ‘वोकल फॉर लोकल’ और ‘मेक इन इंडिया’ के प्रति जन-प्रतिबद्धता को दर्शाती है।

अध्यक्ष, केवीआईसी ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में किया गया जीएसटी सुधार खादी जगत के लिए ऐतिहासिक कदम है। अब खादी उत्पादों पर जीएसटी शून्य कर दिया गया है, जिससे खादी कारीगरों और उद्यमों को प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा। इस निर्णय से खादी के उत्पादन, बिक्री और लोकप्रियता में उल्लेखनीय वृद्धि होगी तथा देशभर में खादी के प्रति जागरूकता और रुचि बढ़ेगी। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रेरणा से खादी और ग्रामोद्योग ने गांव-गांव तक ‘कारीगर क्रांति’ की नई अलख जगाई है। वित्त वर्ष 2024-25 में खादी और ग्रामोद्योग का कुल उत्पादन 1,16,599 करोड़ रुपये तथा बिक्री 1,70,551 करोड़ रुपये रही है, जिससे लगभग 2 करोड़ लोगों को रोजगार मिला है।” उन्होंने यह भी बताया कि “पिछले 11 वर्षों में खादी और ग्रामोद्योग क्षेत्र में उत्पादन 4 गुना, बिक्री 5 गुना और रोजगार 49 प्रतिशत तक बढ़ा है। यह अभूतपूर्व प्रगति प्रधानमंत्री के नेतृत्व में हुए आर्थिक और सामाजिक बदलाव का उदाहरण है।”

आगंतुकों के अनुभव को और समृद्ध बनाने के लिए प्रदर्शनी में भारत की पारंपरिक कला एवं कारीगरी को दर्शाने वाले सजीव प्रदर्शन और सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए जाएंगे। यह केवल एक प्रदर्शनी नहीं, बल्कि ऐसा मंच है जो ग्रामीण कलाकारों और कारीगरों को अपनी कला प्रदर्शित करने के साथ ही उनके आर्थिक सशक्तिकरण को प्रोत्साहित करता है तथा भारत की स्वदेशी कारीगरी को संरक्षित बनाए रखने में योगदान देता है।

कार्यक्रम में दिल्ली सरकार और केवीआईसी के अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।    

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